सरकारी अस्पताल में बुखार की दवाईयां भी नही!
✍रिपोर्ट-अब्दुल बारी सह संपादक
प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र तो है, किन्तु दवाईया ही नही तो ऐसे भवन का क्या फायदा।
मुजफ्फराबाद समाचार
जिला मुख्यालय से 30 किलोमीटर दूर स्थित ग्राम पंचायत मुजफ्फराबाद के प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र में सुविधाओं के नाम पर प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र का भवन व डॉक्टर तो है किन्तु स्वास्थ्य केंद्र दवाईयों के अभाव में जूझ रहा है। प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र (पी एच सी) ग्रामीण स्वास्थ्य देखभाल की आधारशिला हैं।प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों का काम ग्रामीण जनता की स्वास्थ्य सम्बन्धी समस्याओ को देख निराकरण करना व मरीजों को दवाएं उपलब्ध कराना है।
दवाईयों के न होने से मरीजो की सर्दी-खाँसी व बुखार जैसे सामान्य रोगों की जेनरिक दवाईयां भी बाहर से खरीद कर लानी पड़ रही है, मरीज समस्याओ से काफी त्रस्त है और उनका कहना है कि यहाँ छोटे-मोटे रोगों की भी दवाईयां बाहर से खरीदनी पड़ रही है। किसी प्रकार की कोई स्वास्थ्य सेवायें नही मिल पा रही है हम इतने सामर्थ भी नही है कि सहारनपुर जा कर इलाज करा सकें ऐसे में प्राथमिक स्वस्थ्य केंद्र भवन रोगियों के लिये आश्रय मात्र बना हुआ है जिसे विश्राम गृह कहना गलत न होगा।
जबकि क्षेत्र में लगातार डेंगू का कहर जारी है आए दिन नये कैश मिलते रहते हैं अभी तक प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र की ओर से डेंगू को लेकर कोई बड़ा कदम नहीं उठाया गया है
अभी कुछ दिन पहले ही ग्राम प्रधान कुर्बान से मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने प्राथमिक चिकित्सालय को लेकर बेहतर सुविधा देने की भी बात कही थी लेकिन अभी तक चिकित्सालय में डेंगू प्रकोप को लेकर चिकित्सालय मौजूदा कर्मचारी फिलहाल सोए हुए हैं
No comments:
Post a Comment